बता दें कि पप्पू यादव ने 3 दिन पहले सांसद मद से खरीदे गए एंबुलेंस के बेकार पड़े होने को लेकर खुलासा किया था. जानकारी के मुताबिक पप्पू यादव पर सरकारी काम में बाधा डालने और लॉकडाउन के नियमों का उल्लंघन करने का आरोप लगाते हुए साथ ही मधेपुरा से भी जुड़े कुछ मामले को लेकर उनकी गिरफ्तारी की गई है. हालांकि अब तक कोई भी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है.
पप्पू यादव ने कुछ दिनों पहले भाजपा के सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री राजीव प्रताप रूडी के खिलाफ महामारी रोग अधिनियम के तहत मामला दर्ज करने की मांग की थी पप्पू यादव ने ही शुक्रवार को रूडी के कार्यालय से 30 से अधिक एंबुलेंस की खोज की थी उन्होंने आरोप लगाया कि सांसद ने सांसद निधि से खरीदे जाने के बावजूद व्यक्तिगत क्षमता के तहत एंबुलेंस को रखा था.
पप्पू यादव पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने खुद उस स्थल पर पहुंचकर एंबुलेंसओं की तस्वीर ली थी इसके बाद बिना अनुमति के सामुदायिक भवन में अपने समर्थकों के साथ जाने, एंबुलेंस में तोड़फोड़ किए जाने के खिलाफ पप्पू यादव पर प्राथमिकी दर्ज कराई गई है. पप्पू यादव ने पूरे मामले को लेकर कहा था कि “यह बेहद ही चौंकाने वाला है कि रूडी ड्राइवरों की अनुपलब्धता का बहाना दे रहे हैं. करदाताओं के पैसे से लिए गए एंबुलेंस को जिले के सरकारी अस्पतालों में तैनात किया जाना चाहिए. राज्य सरकार को ड्राइवर नियुक्त करना चाहिए. किस क्षमता के तहत रूडी ने उन एंबुलेंसओं को अपने कार्यालय में रखा है. वह क्यों कह रहा है कि ड्राइवरों की अनुपस्थिति में एंबुलेंस को उनके परिसर के अंदर रखा गया था.