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भाजपा ने कोल ब्लॉक नीलामी पर राज्य सरकार के सुप्रीम कोर्ट जाने के कदम को राजनीति से प्रेरित बताया

News Desk

भाजपा प्रदेश कार्यालय में शनिवार को प्रेस कांफ्रेंस का आयोजन किया गया. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश और सांसद संजय सेठ कोल ब्लॉक की नीलामी से जुड़े फायदे को साझा किया और राज्य सरकार के रुख को पूरी तरह से राजनीति से प्रेरित बताया। मालूम हो की कोल ब्लॉक की नीलामी के खिलाफ राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट गई है। दीपक प्रकाश ने कहा कि भारत दुनिया का चौथा सबसे बड़ा कोयला उत्पादक देश है, इसके बावजूद हमें कोयले का आयात करना पड़ता है।

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गत वित्तीय वर्ष के आंकड़ों का हवाला देते हुए बताया कि देश में 958 मिलियन टन कोयले की खपत हुई, जबकि उत्पादन महज 707 मिलियन टन का ही हुआ। 251 मिलियन टन कोयले का आयात पिछले वर्ष विभिन्न देशों से किया गया। सिर्फ कोयले के आयात में 1.5 लाख करोड़ की विदेशी मुद्रा खर्च हुई। उन्होंने कोल ब्लॉक नीलामी से जुड़े हितों की चर्चा करते हुए कहा कि इससे न सिर्फ विदेशी मुद्रा की बचत होगी बल्कि अवैध खनन भी रुकेगा। रोजगार के साधन भी सृजित होंगे।

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प्रदेश भाजपा ने एक बार फिर दोहराया है कि कोल ब्लॉक की नीलामी राज्य हित में हैं और इससे हर वर्ष झारखंड को करीब 15 हजार करोड़ रुपये की आय होगी, रोजगार के संसाधन भी सृजित होंगे। दीपक प्रकाश ने कहा कि राजस्व का रोना रोने वाली सरकार घटिया राजनीति कर रही है। कोल ब्लॉक की नीलामी से राज्य सरकार के राजस्व की वृद्धि होगी। इसके अतिरिक्त डीएमएफटी से मिलने वाले फंड से खनन प्रभावित जिलों में विकास के कार्य किए जा सकेंगे।

राँची से सांसद संजय सेठ ने कहा राज्य सरकार भी चाहती है कि नीलामी हो लेकिन उसका वर्तमान कदम सिर्फ राजनीति से प्रेरित है। कोल ब्लॉक की नीलामी पूरी तरह से राज्यहित में है।

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