Jharkhand News: झारखंड के राजकीय मार्गों पर नए साल में 24 ट्रामा सेंटर स्थापित करने को लेकर सरकार ने अपने कदम बढ़ा दिये है. इस संबंध में विभाग के सचिव अरुण कुमार सिंह ने मीडिया को जानकारी दी है. ट्रामा सेंटर के स्थापित होने से सड़क दुर्घटना में घायल लोगो को चिकित्सा सुविधाएँ तो मिलेगी ही साथ में स्थानीय ग्रामीणों को भी 24 घंटे अपना ईलाज करा सकेंगे.
स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह ने कहा है कि संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम के द्वारा निर्धारित एसटीजी (सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल) के तहत सड़क सुरक्षा सुनिश्चित करने को लेकर राज्य के विभिन्न राष्ट्रीय व राजकीय उच्चपथों पर 48 ट्रॉमा सेंटर स्थापित किया जाना है। जिनमें से प्रथम चरण में 21 जिलों में 24 ट्रॉमा सेंटर स्थापित किए जा रहे हैं।
Jharkhand News: सभी ट्रॉमा सेंटर सप्ताह में सातों दिन और 24 घंटे संचालित होंगे
आवश्यक जीवन रक्षी व्यवस्थाओं से सुसज्जित ये सभी ट्रॉमा सेंटर सप्ताह में सातों दिन 24 घंटे संचालित होंगे। यहां दुघर्टनाग्रस्त व्यक्तियों की आवश्यक चिकित्सा के बाद आवश्यकतानुसार उन्हें बेहतर चिकित्सा संस्थान में स्थानांतरित किया जा सकेगा।
पीपीपी मोड पर मार्च तक शुरू हो जाएगा संचालन अपर मुख्य सचिव ने कहा है कि प्रस्तावित ट्रॉमा सेंटरों की स्थापना लेवल-3 के रूप में की जाएगी। ट्रॉमा सेंटरों का संचालन एवं प्रबंधन की व्यवस्था लोक निजी भागीदारी (पीपीपी) के आधार पर की जाएगी। पीपीपी मोड पर अनुभवी/प्रतिष्ठित चिकित्सा संस्थानों/संस्थाओं का चयन खुली निविदा के माध्यम से किया जाएगा।
अपर मुख्य सचिव के अनुसार राज्य में खुलने वाले 48 में 24 ट्रॉमा सेंटरों को वित्तीय वर्ष 2022-23 में प्रारंभ कर दिया जाएगा। इस पर लगभग 14.53 करोड़ रुपए खर्च संभावित है, जिसकी स्वीकृति प्रदान कर दी गई है। अपर मुख्य सचिव ने कहा कि राज्यभर में आवश्यक सुविधाओं से लैस 48 ट्रॉमा सेंटर खोले जाने हैं, जिनमें से प्रथम चरण में खुलने वाले 24 में से 9 सेंटरों के पृथक भवन बनकर तैयार हैं।
सड़क दुर्घटना के मरीजों को आपातकालीन चिकित्सा सुविधा के साथ ही ट्रॉमा सेंटरों के द्वारा आसपास के क्षेत्रों के निवासियों को प्राथमिक स्वास्थ्य सुविधाएं भी प्रदान की जाएगी। सभी ट्रॉमा सेंटरों में 24 घंटे हेल्पलाइन नंबर के साथ-साथ एंबुलेंस की भी सुविधा होगी।