CM Hemant Soren: भाजपा के समर्थक कितने उदंड और अव्यावहारिक है यह किसी से छिपी नहीं है. संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों की मान, मरियादा और प्रतिष्ठा का भी ध्यान नहीं रखते है सिर्फ अपने नेताओं को खुश करने के लिए किसी को भी अपमानित करने से कतराते नहीं है.
दरअसल, हम ऐसा इसलिए कह रहे है क्योंकि साल 2014 में तत्कालीन गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र दामोदर दास मोदी प्रधानमंत्री बने थे और पीएम बनने के 3 महीने बाद झारखंड के दौरे पर आए थे. 21 अगस्त 2014 का वो दिन था जब प्रधानमंत्री मोदी झारखंड में किसी योजना की सौगात राज्य वासियों को देने आए थे उस वक्त झारखंड के मुख्यमंत्री वर्तमान के सीएम हेमंत सोरेन ही थे.
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन जब मंच पर पीएम की मौजूदगी में भाषण देने के लिए चढ़े तो भाजपा समर्थकों द्वारा मोदी-मोदी के नारे लगने लगे. पहले तो हेमंत सोरेन ने असहज महसुसू किया लेकिन जब बोलना शुरू किया तो झारखंड के हर दुःख और दर्द को सबके सामने रखते हुए भाजपा सरकार के शासनकाल की पोल-खोलने लगे.
रांची में पावर ग्रिड का उद्घाटन करने पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में हेमंत सोरेन के खिलाफ हूटिंग हुई थी. कार्यक्रम में नरेंद्र मोदी के साथ हेमंत सोरेन मंच पर बैठे थे. कार्यक्रम में ऊर्जा मंत्री पीयूष गोयल भी शिरकत कर रहे थे. गोयल जब मंच से भाषण दे रहे थे कार्यक्रम में उपस्थित लोग शांति से सुन रहे थे, लेकिन ज्योंही मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भाषण देने उठे, बीजेपी कार्यकर्ता और समर्थक मोदी-मोदी के नारे लगाने लगे.
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हेमंत सोरेन ने प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिखकर हूटिंग को लेकर आगाह किया था. सोरेन ने कहा था कि अगर कार्यक्रम में हूटिंग हुई तो इसका जवाब जनता देगी. लेकिन उनकी चिट्ठी का कोई असर नहीं हुआ. उधर, तत्कालीन जेवीएम (जिसका विलय बाबूलाल भाजपा में करने का दावा कर रहे है) का कहना था कि अगर सीएम के खिलाफ हूटिंग हुई, तो बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और भविष्य में प्रधानमंत्री के साथ मंच साझा नहीं करेंगे.