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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा, संताल परगना में जल्द खुलेगा कोरोना जांच के लिए आधुनिक लैब

News Desk

रिम्स में प्लाज्मा थेरेपी का उद्घाटन करने के बाद राज्य सरकार द्वारा पलामू में भी एक बायोसेफ्टी लेवल का प्रयोगशाला का उद्घाटन किया गया है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बुधवार को पलामू मेडिकल कॉलेज में नवनिर्मित VIROLOGY एवं कोविड-19 प्रयोगशाला का ऑनलाइन उद्घाटन किया। कोरोना जांच हेतु पलामू मेडिकल कॉलेज में स्थापित यह प्रयोगशाला अत्याधुनिक है। इस प्रयोगशाला में प्रतिदिन एक से डेढ़ हजार कोविड-19 सैंपलों की जांच की जा सकेगी।

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राज्य की जनता को बेहतर चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराना प्राथमिकता:

मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि कोरोना संक्रमण के हालात को देखते हुए राज्य सरकार संक्रमण के शुरुआती दिन से ही तेज गति से काम करना प्रारंभ किया है। संक्रमण के शुरुआती दौर में लगभग 20 से 25 दिन हमें कोविड-19 टेस्ट के लिए दूसरे राज्यों पर निर्भर रहना पड़ा था, परंतु राज्य सरकार प्रतिबद्धता के साथ कार्य करते हुए राज्य में शीघ्र ही 3 प्रयोगशाला स्थापित कर जांच कार्य प्रारंभ किया।

उन्होंने कहा कि कोविड-19 की जांच युद्ध स्तर पर किया जाना अति आवश्यक है, इस निमित्त आज राज्य सरकार द्वारा पलामू में भी एक बायोसेफ्टी लेवल का एक प्रयोगशाला का उद्घाटन किया गया है। मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि यह प्रयोगशाला पलामू एवं आस-पास क्षेत्र के लोगों के लिए मील का पत्थर साबित होगा।

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संताल परगना में भी आधुनिक प्रयोगशाला का संचालन शीघ्र:

मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि जल्द ही संताल परगना में भी एक अत्याधुनिक कोविड-19 जांच प्रयोगशाला का शुभारंभ किया जाएगा। इसकी पूरी तैयारी कर ली गई है। उन्होंने कहा कि राज्य वासियों को बेहतर स्वास्थ्य चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराना सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। वर्तमान समय में स्वास्थ्य चिकित्सा के क्षेत्र में किसी भी प्रकार की लापरवाही बड़ी चुनौती बन सकती है। पूरी तत्परता के साथ लोगों को स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध हो इस पर हमें निरंतर कार्य करने की जरूरत है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में प्रयोगशाला कम होने के कारण रिम्स इत्यादि जगहों पर सैंपल जांच हेतु काफी भीड़ होती है परंतु जैसे-जैसे प्रयोगशालाओं का दायरा बढ़ेगा लोगों को उन्हीं के क्षेत्र में जांच रिपोर्ट मिलेगी और रिम्स अथवा अन्य जगहों के प्रयोगशालाओं पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा।

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VIROLOGY & COVID-19 DIAGNOSTIC LAB से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें:

एम्स रायपुर के मार्गदर्शन से PREJHA Foundation द्वारा ICMR के गाइडलाइन के अनुरूप इसे तैयार किया गया है। 1500 स्क्वायर मीटर में स्थापित इस लैब में प्रतिदिन 1000 से 1500 सैंपल की जांच होगी। यह लैब 45 दिनों में बनकर तैयार हुआ है। यह बायोसेफ्टी लैबल-2 (BSL-2) लैब है, जो निगेटिव प्रेशर के साथ है। इसमें RTPCR (रिवर्स ट्रासक्रिप्शन पॉलीमरेस चेन रियेक्शन) के दो मशीन हैं और टाइप-2, ए-2 का 3 बायोसेफ्टी कैबिनेट लगे हैं।

इसके अलावा अन्य तकनीकी उपकरण लगाये गये हैं, जिसके माध्यम से कम समय में ज्यादा जांच संभव हो सकेगा। लैब के संचालन होने से समय की बचत होगी और जांच रिपोर्ट के आधार पर कोरोना संक्रमित व्यक्तियों का त्वरित इलाज संभव हो सकेगा। कोरोना जांच के लिए स्थापित लैब अत्याधुनिक है। इस लैब में कोरोना का टेस्ट अत्याधुनिक तकनीक से किया जाएगा। लैब पूरी तरह से सुरक्षित है।

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प्रत्येक जिले में कोविड-19 जांच के लिए ट्रूनेट मशीन की उपलब्धता:

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा वर्तमान समय में कोविड-19 की तत्काल जांच के लिए ट्रूनेट मशीन की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। ट्रूनेट मशीन का दायरा बढ़ाकर प्रखंड स्तर में भी जांच सुविधा उपलब्ध कराने हेतु सरकार प्रतिबद्ध है। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमण के इस दौर में बंदी का माहौल है फिर भी राज्य सरकार द्वारा पलामू में भव्य प्रयोगशाला स्थापित करना एक चुनौती थी। उन्होंने कहा कि यह अत्याधुनिक प्रयोगशाला पलामू मेडिकल कॉलेज को सुपुर्द किया गया है। उन्होंने कहा कि इस प्रयोगशाला के संचालन में कभी भी सरकार के सहयोग की जरूरत पड़े तो सरकार सहयोग देने के लिए कटिबद्ध है।