Ranchi: राज्य गठन के बाद पहली बार झारखंड में संविधान अनुरूप सरकार की लोकतांत्रिक भावना चरितार्थ हो रही है. चरितार्थ करने का काम कर रहे हैं मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन. लोक कल्याणकारी राज्य का अर्थ किसी विशेष वर्ग का कल्याण न होकर सम्पूर्ण जनता का कल्याण होता है. इस तरह सम्पूर्ण जनता को केंद्र मानकर जो राज्य कार्य करता है, वह लोक कल्याणकारी राज्य है. हेमंत सोरेन के नेतृत्व में ऐसा पहली बार हो रहा है कि जब राज्य के हर वर्गों को उनका अधिकार दिया जा रहा है. पहली बार वकीलों को इस श्रेणी में रखा गया. चिकित्सकों को जान-माल से रक्षा दिलाने का फैसला हुआ है. गांव में रहने वाले किसानों, मजदूरों, महिलाओं और नौजवानों समेत सभी वर्ग और सबके के हितों को ध्यान में रखकर कार्य योजनाएं बनाई जा रही हैं. इसमें आम जनता की भावनाओं का विशेष ख्याल रखा जा रहा है ताकि, उन्हें उनका वाजिब हक और अधिकार मिल सके.
Jharkhand: वकीलों को पेंशन और बीमा का लाभ, पांच लाख तक का लाभ
वकीलों के लिए हेमंत सरकार दुर्घटना एवं स्वास्थ्य बीमा की योजना लाएगी. 65 वर्ष से अधिक उम्र के रिटायर वकीलों को झारखंड अधिवक्ता संघ, कल्याण कोष जितना पेंशन प्रदान करती है, उतनी ही राशि राज्य सरकार भी उस कोष में देगी. सभी वकीलों को सपरिवार प्रति वर्ष बेहतर इलाज के लिए पांच लाख रुपये तक की सहायता राशि मिलेगी. यह सभी घोषणाएं मुख्यमंत्री ने इसी साल सात जनवरी को वकीलों से सीधे संवाद करने के दौरान कहीं. इसी तरह सरकार प्रत्येक जिले में नए सिरे से सुसज्जित बार कॉम्पलेक्स बनाएगी. सभी कॉम्पलेक्सों में लाइब्रेरी, कंप्यूटर लैब, मीटिंग हॉल, महिलाओं के लिए जरूरी सुविधाओं आदि की व्यवस्था होगी.
Jharkhand: चिकित्साकर्मियों और उनके संस्थानों की सुरक्षा की दिशा में पहल
हाल के दिनों में कई जिलों में चिकित्सक कर्मियों पर हमले (इसमें डॉक्टर विशेष रूप से शामिल हैं) और चिकित्सा संस्थानों को नुकसान पहुंचाने की घटना काफी बढ़ी है. इसे देखते हुए सरकार अब अपराधियों पर कानूनी शिकंजा कसेगी. सरकार चलते बजट सत्र 2023 में ‘झारखंड चिकित्सा सेवा से संबंद्ध व्यक्तियों, चिकित्सा सेवा संस्थान (हिंसा एवं संपत्ति नुकसान निवारण) विधेयक 2023’ को विधानसभा से पारित कराएगी. विधेयक पारित और राज्यपाल से स्वीकृति मिलने के बाद जब कानून धरातल पर उतरेगा तो अपराधी को 2 साल की सजा और 50,000 रुपए का आर्थिक जुर्माना लग सकेगा. प्राइवेट चिकित्सा संस्थानो में होने वाले हिंसा पर रोक लगाने के लिए सरकार विधेयक में कई महत्वपूर्ण पहल की है.
Jharkhand: हमीन कर बजट, मानदेय बढ़ोतरी, बच्चों को कोचिंग और उच्च शिक्षा में आर्थिक मदद
लोककल्याणकारी राज के तहत हेमंत सोरेन ने बजट बनाने से पहले लोगों से राय लेने की पहल शुरू की है. इसे सरकार द्वारा हमीन कर बजट नाम दिया गया. पहली बार पारा शिक्षकों, आंगनबाड़ी सेविका-सहायिकाओं के मानदेय बढ़ोतरी बढ़ाया गया. सभी वर्ग के बच्चों के इंजीनियरिंग, मेडिकल, लॉ इत्यादि की तैयारी के लिए कोचिंग संस्थानों के खर्च वहन करने की पहल शुरू की गीय. गुरुजी क्रेडिट कार्ड योजना के तहत 15 लाख रुपये तक की शिक्षा लोन दिया जा रहा है. पहली बार अनूसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, पिछडा और अल्पसंख्यक वर्ग के बच्चों को सरकार अपने खर्च पर उच्च शिक्षा के लिए विदेश भेज रही है.