Holding Tax Jharkhand: पूर्व की रघुवर सरकार के दौरान झारखंड में होल्डिंग टैक्स का नियम लागू होने के बाद इसका विरोध भी लगातार हो रहा था. हेमंत सोरेन की सरकार बनने के बाद यह आश्वस्त किया गया था कि बेतहासा बढ़े होल्डिंग टैक्स को कम करने के लिए जल्द नए नियम लागू किया जायेगा.
राज्य सरकार के फैसले के बाद राजधानी रांची में नये सिरे से होल्डिंग टैक्स का निर्धारण कर लिया गया है. नयी टैक्सेशन प्रणाली में अब शहर के 2.25 लाख घरों को बढ़े हुए टैक्स से राहत मिलेगी. इस संबंध में टैक्स कलेक्शन का काम कर रहे कर्मियों की मानें, तो नयी दर लागू होने से शहर के 70 प्रतिशत घरों को सीधे तौर पर फायदा होगा.
पूर्व में जहां टैक्स का निर्धारण सर्कल रेट पर होता था. अब इसका निर्धारण प्रमंडल स्तर पर कर दिया गया है. मतलब दक्षिणी छोटानागपुर क्षेत्र में पड़नेवाले रांची, खूंटी, सिमडेगा, लोहरदगा व गुमला की जमीन की दर के आधार पर औसत दर निकाली जायेगी. चूंकि रांची को छोड़कर दूसरे जिलों में जमीन की दर काफी कम है. ऐसे में सभी जगह की जमीन की दर को मिलाकर उसका औसत निकाला जायेगा. फिर उसी के आधार पर टैक्स की गणना की जायेगी.
Holding Tax Jharkhand: आवासीय भवनों का 20-30 प्रतिशत तो व्यवसायी भवनों का 10 गुणा तक बढ़ा था टैक्स
वर्ष 2022 से राज्य में सर्किल रेट पर होल्डिंग टैक्स का निर्धारण हुआ था. इससे आवासीय भवनों का टैक्स 20-30 प्रतिशत, वहीं व्यावसायिक भवनों का टैक्स आठ से 10 गुना बढ़ गया था. अचानक हुई इस टैक्स वृद्धि से व्यवसायी वर्ग भी नाराज हो गया था. वहीं सत्ताधारी दल के मंत्री भी इससे नाराज थे. इसे देखते हुए टैक्सेशन प्रणाली को बदलकर अब नये सिरे से प्रमंडल स्तर पर टैक्स की गणना की गयी. नई नियमवाली वर्ष 2022 से ही प्रभावी है. कई लोगों ने पिछले साल बढ़ा टैक्स जमा किया था़ अब जो अतिरिक्त टैक्स उनसे लिया गया है, उसका समायोजन वित्तीय वर्ष 2023-24 में किया जायेगा.
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झारखंड चेंबर की कार्यकारिणी समिति की नौवीं बैठक सोमवार को चेंबर भवन में हुई. अध्यक्ष किशोर मंत्री ने होल्डिंग टैक्स में कमी को लेकर कैबिनेट में लिये गये निर्णय का स्वागत किया. सदस्यों ने मुख्यमंत्री के साथ ही राज्यसभा सांसद महुआ माजी के प्रति आभार जताया. चेंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने प्रसन्नता जताते हुए उम्मीद जतायी कि भवन नियमितीकरण योजना के साथ ही होल्डिंग टैक्स में धर्मशाला, शैक्षणिक संस्थानों सहित व्यापार व उद्योग को भी इस निर्णय के तहत विशेष छूट दी जायेगी.