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मनरेगा है ग्रामीण अर्थव्यवस्था की रीढ़: हेमंत सरकार में मजदूरी दर ने लगाई लंबी छलांग, 2020 में 198 अब बढ़कर 255 हुई

मनरेगा है ग्रामीण अर्थव्यवस्था की रीढ़: हेमंत सरकार में मजदूरी दर ने लगाई लंबी छलांग, 2020 में 198 अब बढ़कर 255 हुई 1

झारखंड में हेमंत सरकार के दौरान मनरेगा (महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम) श्रमिकों को 1 अप्रैल 2023 से प्रतिदिन 228 रूपए की मजदूरी मिलेगी। केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय द्वारा मनरेगा के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए राज्यवार प्रतिदिन मजदूरी की दर का राजपत्र में प्रकाशन कर दिया गया है।

मनरेगा के तहत काम करने वाले अकुशल हस्त कर्मकारों हेतु झारखंड के लिए 228 रूपए प्रतिदिन की मजदूरी तय की गई है। यह नई दर 1 अप्रैल 2023 से प्रभावी होगी। केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय द्वारा चालू वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए 210 रूपए मजदूरी दर निर्धारित थी।

भारत सरकार से बढ़ी मजदूरी के बाद अब हेमंत सरकार अपने मद से मजदूरों को देगी 255 रुपए

आगामी वित्तीय वर्ष के लिए इसमें 18 रूपए की बढ़ोतरी की गई है। बता दें कि झारखंड अभी केन्द्रांश के 210 रुपये और राज्य मद से 27 रुपये अलग से दे रहा है। यानी अभी 237 रुपये मिलते हैं। भारत सरकार द्वारा निर्धारित प्रति मानव दिवस मजदूरी 228 रूपये एवं राज्य योजना मद से 27 रूपये झारखंड सरकार वहन करेगी और झारखंड में मनरेगा श्रमिकों को कुल मिलाकर 255 रूपये का भुगतान किया जाएगा।

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने राज्य के भीतर मनरेगा में कार्यरत मजदूरों की समस्याओं को समझते हुए निरंतर मानदेय बढ़ाने को लेकर प्रयास करते है. झारखंड सरकार की तरफ से मानदेय तो बढ़ाया गया लेकिन केंद्र सरकार की तरफ से कई सालों के बाद यह राशी बढ़ी है.

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