केंद्र सरकार के द्वारा बैंकों के निजीकरण की योजना के विरोध में बैंक कर्मचारी संगठन सोमवार और मंगलवार को हड़ताल पर रहेंगे. इस दौरान यूनियन के सदस्य सोमवार को विरोध प्रदर्शन भी करेंगे. इस दो दिवसीय हड़ताल से आम जनता को काफी मुसीबतों का सामना करना पड़ेगा इसलिए यदि आप बैंक जाने की सोच रहे हैं तो इस खबर को पूरा जरूर पढ़ ले.
कर्मचारी संगठनों ने कहा है कि यदि उनकी मांगे पूरी नहीं हुई तो वह मार्च में संसद का घेराव भी करेंगे. सार्वजनिक क्षेत्र के 2 बैंकों के निजीकरण की घोषणा की है. यूनाइटेड फॉर्म ऑफ यूनियंस के बैनर तले 9 यूनियनों के बैंक कर्मचारी और अधिकारी मिलकर सरकार के प्रस्ताव के खिलाफ आंदोलन कर रहे हैं.
यूएफबीआई के लोगों का कहना है कि सरकारी बैंकों के सामने एक मात्र समस्या खराब कर्ज की है जो अधिकांश कॉर्पोरेट और अमीर उद्योगपतियों द्वारा लिए जाते हैं. यदि केंद्र सरकार अपने फैसले पर आगे बढ़ती है तो हम आंदोलन तेज करेंगे और लंबे समय तक हड़ताल और अनिश्चितकालीन हड़ताल करेंगे.
Also Read: बैंक जाने की सोच रहे है तो पहले पढ़ ले यह खबर, जाने के बाद पछताना न पड़े
बता दे कि शनिवार से ही बैंक बंद है लगातार चार दिनों तक बैंक बंद रहने के कारण आम जनता को काफी मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है. महीने का दूसरा शनिवार होने के कारण शनिवार को बैंक बंद है जबकि रविवार को सप्ताहिक अवकाश रहने के कारण बैंक बंद रहे जबकि 15 और 16 मार्च को बुलाए गए बंद के कारण 2 दिन बैंक बंद रहेंगे.