भारत सहित पूरी दुनिया कोरोना महामारी से ग्रसित है. तेजी से बढ़ते कोरोना के मामले में भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा देश है. कोरोना वायरस को ठीक करने के लिए अभी तक कोई वैक्सीन तैयार नहीं हुई है लेकिन शारीरिक दुरी और सतर्कता अपनाने से कोरोना को मात दिया जा रहा है.
न्यूयॉर्क के डॉक्टरों ने मरीजों की रिपोर्ट्स के आधार पर कहा है कि कोरोना वायरस न सिर्फ इंसान के फेफड़ों पर हमला करता है बल्कि किडनी, लीवर, हार्ट, ब्रेन, नर्वस सिस्टम, स्किन और Gastrointestinal Tract को भी नुकसान पहुंचाता है. न्यूयॉर्क कोरोना वायरस से सबसे बुरी तरह प्रभावित होने वाले शहरों में शामिल है.
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न्यूयॉर्क सिटी के कोलंबिया यूनिवर्सिटी इरविंग मेडिकल सेंटर के डॉक्टरों की टीम ने अपने मरीजों के साथ-साथ दुनियाभर के अन्य मेडिकल टीम के पास मौजूद रिपोर्ट्स की भी समीक्षा की. कुछ महीने पहले इरविंग मेडिकल सेंटर में बड़ी संख्या में कोरोना मरीज भर्ती हुए थे. सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक, डॉक्टरों ने कोरोना मरीजों की रिपोर्ट की समीक्षा के बाद पाया कि यह वायरस इंसान के लगभग हर महत्वपूर्ण अंग को निशाना बनाता है. कोरोना वायरस सीधे मरीजों के अंगों को क्षतिग्रस्त कर देता है और खून जमने लगता है. धड़कन प्रभावित होती है, किडनी से ब्लड आने लगते हैं, स्किन पर रैश दिखते हैं.
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शरीर के विभिन्न अंगों पर कोरोना के हमले की वजह से मरीजों को सिर दर्द, चक्कर आना, मांसपेशियों में दर्द, पेट में दर्द और अन्य तकलीफें होने लगती हैं. इसके साथ-साथ फेफड़ों में संक्रमण की वजह से कफ और बुखार भी होता है. रिव्यू टीम में शामिल कोलंबिया यूनिवर्सिटी की कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. आकृति गुप्ता ने कहा कि कोरोना मरीजों का इलाज कर रहे डॉक्टरों को यह ध्यान रखना चाहिए कि यह एक मल्टीसिस्टम बीमारी है. उन्होंने कहा कि ऐसे मरीजों की अच्छी संख्या है जो किडनी, हार्ट और ब्रेन डैमेज से जूझते हैं, इसलिए डॉक्टरों को फेफड़ों के संक्रमण के साथ-साथ अलग-अलग दिक्कतों के लिए भी ट्रीटमेंट करना चाहिए।
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कोरोना वायरस मरीजों के दिमाग पर भी सीधे हमला करता है. हालांकि, डॉक्टरों का कहना है कि वेंटिलेटर पर लंबे वक्त तक रखे जाने वाले मरीजों को ट्रीटमेंट वाली दवाइयों से भी नुकसान हो सकता है और उनमें न्यूरोलॉजिकल इफेक्ट्स देखने को मिल सकते हैं. बता दें कि अब तक दुनिया में कोरोना से संक्रमित होने वाले लोगों की संख्या 12,728,966 से अधिक हो चुकी है. वहीं, 565,351 लोगों की कोरोना से जान भी जा चुकी है